बरेली। उदयपुर में दर्जी कन्हैयालाल की हत्या का मामला दिन पर दिन बढ़ता जा रहा है। नुपुर शर्मा के विवादित बयान के बाद से शुरू हुए बवाल पर सियासत भी गर्माती जा रही है। इसको लेकर कई संगठन भी सड़कों पर उतर आए हैं। अब बरेली के मौलाना तौकीर रजा ने भी कन्हैयालाल हत्या मामले में बड़ा बयान दिया है। तौकीर रजा ने उदयपुर की घटना के पीछे भाजपा और आरएसएस की मिली-जुली साजिश बताया है।
इसके अलावा इत्तेहादे मिल्लत काउंसिल के प्रमुख मौलाना तौकीर रजा खां ने शनिवार को अपने आवास पर प्रेस कांफ्रेंस करते हुए नुपुर शर्मा मामले में सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी का स्वागत भी किया। उन्होंने कहा, यह बहुत खुशी का मौका है, इस कदम से लोकतंत्र में यकीन रखने वालो का भरोसा और मजबूत हुआ है।
मौलाना ने कहा कि नुपुर शर्मा पर सरकार की मौन धारण कर अप्रतक्ष हिमायत से देश का हालात बिगड़े हैं। उदयपुर में दर्जी की हत्या हो या रांची में बेकसूर नाबालिग बच्चो की मौत इस सब की जिम्मेदार नुपुर शर्मा की टिप्पणी और सरकार की खामोशी है।
सौदागरान स्थित अपने आवास पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए मौलाना तौकीर रजा ने कहा कि वक्त रहते नुपुर को गिरफ्तार कर लिया जाता तो इन हत्याओं को रोका जा सकता था। मौलाना ने कहा के उदयपुर के आरोपियों को सजा मिलनी चाहिए, साथ ही कांग्रेस को रांची में पुलिस फायरिंग में मारे गए मासूम बच्चों के परिवार को मुआवजा देना चाहिए। मुआवजा देने में धर्म की नज़र से नहीं देखा जाना चाहिए।
मौलाना ने कहा प्रधानमंत्री अगर अपना मौन धारण न करते तो हालात न बिगड़ते। नुपुर शर्मा के बयान पर पीएम को अपने बयान दे देते तो देश का माहौल ख़राब न हुआ होता। उदयपुर और रांची में हुई हत्याओं को रोका जा सकता था। मौलाना ने कहा कि तस्वीर साफ हो गई है कि उदयपुर के आरोपी भाजपा के कार्यकर्ता है।
अब इस बात की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए। राजस्थान में आगामी चुनावों को ध्यान रखते हुए भाजपा की प्लानिंग का हिस्सा तो नहीं है। इन तमाम पहलुओं की भी जांच होनी चाहिए। इस मौके पर डा. नफीस खान, मुनीर इदरीसी, फरहान रजा खां आदि शामिल रहे।