लखनऊ। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह कहते हैं कि यूपी में अब रात 12 बजे गहने पहनी हुई लड़की अकेले शादी से घर जा सकती है। भाजपा दावा करती है कि उत्तर प्रदेश में उनकी सरकार बनने के बाद कानून व्यवस्था बेहतर हुई है। लोगों को गुंडाराज से राहत मिली है। मगर, इन दावों के इतर एक रोचक तथ्य सामने आया है।
पिछले साढ़े चार साल में कोई भी महीना ऐसा नहीं गया है, जब यूपी की 60 फीसदी आबादी डर के साए में न रही हो। या यूं कहे कि वहां कानून व्यवस्था खराब होने का डर न रहा हो। दरअसल, विधान परिषद में यह सवाल कांग्रेस एमएलसी दीपक सिंह ने किया था कि यूपी में कब-कब कितने जिलों में धारा-144 लागू की गई है। इसके जवाब में शुक्रवार को विधान परिषद में एक डेटा पेश किया गया। इससे पता चला कि अप्रैल 2017 से अक्टूबर 2021 के बीच कोई भी ऐसा महीना नहीं रहा, जब यूपी में 50 से कम जिलों में धारा 144 लागू न रही हो।
चार या चार से ज्यादा लोग नहीं हो सकते जमा
धारा 144 लागू होने पर एक साथ चार से ज्यादा लोग एकत्र नहीं हो सकते हैं। इस धारा को तब लागू किया जाता है, जब काननू व्यवस्था बिगड़ने का डर हो। मार्च 2020 के बाद कोविड को देखते हुए लॉकडाउन लगाया गया था। उसके बाद धारा 144 लागू होने की बात समझ में आती है। हालांकि, इस दौरान भी राजनीतिक और सरकारी कार्यक्रमों में हजारों लोगों की भीड़ रही है। मगर, मार्च 2020 से पहले हर महीने 50 या उससे ज्यादा जिलों में धारा 144 लागू करना पुलिस-प्रशासन की कार्यशैली पर सवाल उठाता है।
धारा 144 इन परिस्थितियों में लागू होती है
- विभिन्न राष्ट्रीय पर्व, त्योहारों, परीक्षाओं, मेले और अन्य परिस्थितियों में शांति भंग होने की आशंका होने पर
- असामाजिक तत्वों की गतिविधियों को रोकने और शांति व्यवस्था को स्थापित करने के लिए
- कोविड-19 के प्रसार के गंभीर खतरे से बचाव के लिए और भीड़-भाड़ होने से रोकने के लिए
- चुनाव, निर्वाचनों के दौरान विभिन्न समाज विरोधी तत्वों की ओर से कानून व्यवस्था खराब करने की आशंका होने पर
लोकतंत्र की जगह राजतंत्र लागू करना चाहते हैं
कांग्रेस एमएलसी दीपक सिंह का कहना है कि जैसे अपराधी बिना हथियार लिए अपनी रक्षा नहीं कर सकता है। उसी तरह यूपी की सरकार को सरकार चलाना नहीं आता है। यह धारा 144 को लागू कर लोकतंत्र की जगह राजतंत्र की तरह सत्ता चला रही है। सीएम योगी आदित्यनाथ केवल अपना चेहरा दिखाने में लगे रहते हैं। यूपी के लोकतांत्रिक गतिविधियों पर रोक लगाने के लिए यह किया जा रहा है। इसकी वजह से यह हो रहा है।