देवों की भूमि उत्तराखंड से पर्यटकों के लिए बड़ी खुशखबरी आ रही है। खबरों की मानें तो लंबे समय के बाद 17 फरवरी से स्पीति घाटी को पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा। इस बात की पुष्टि The Spiti Tourism Society की तरफ से जारी आधिकारिक बयान से होती है, जिसमें कहा गया है कि पंचायत, ट्रेवल एजेंट्स, महिला मंडलस, होटल के ऑनर और समाजिक नेताओं ने संयुक्त रूप से पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए स्पीति घाटी को खोलने का निर्णय लिया है।
The Spiti Tourism Society की तरफ से जारी बयान में यह भी कहा गया है कि पिछले एक साल से घाटी पर्यटकों के बिना सूना है। कोरोना वायरस संक्रमितों की संख्या में कमी और सरकार द्वारा टीकाकरण अभियान शुरू करने के बाद घाटी एकबार फिर से पर्यटकों के स्वागत के लिए तैयार है। हालांकि, कोरोना वायरस संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए गाइडलाइंस तैयार किया गया है। पर्यटकों को नियमों का पालन करना होगा। आइए गाइडलाइंस जानते हैं-
-पर्यटकों का किब्बर और किब्बर वाइल्डलाइफ हैबिटेट में प्रवेश की अनुमति नहीं होगी। गांव वालों ने कोरोना काल में पर्यटकों को गांव में आने और ठहरने की अनुमति नहीं दी है।
-घाटी में आने वाले सभी पर्यटकों की RAT/RT-PCR टेस्ट अनिवार्य है। यह टेस्ट अधिकृत लैब अथवा हॉस्पिटल की वैध मानी जाएगी। यह जिम्मेदारी टूर ऑपरेटर्स की होगी कि RAT/RT-PCR टेस्ट वाले पर्यटकों को ही घाटी पर लाएं।
घाटी पहुंचने से 72 से 96 घंटे पहले RAT/RT-PCR टेस्ट ही मान्य होगा।
-स्पीति घाटी में आने वाले अकेले पर्यटक, चालक के साथ आने वाले पर्यटकों को सरकारी अस्पताल में रैपिड टेस्ट के लिए रिपोर्ट करना पड़ेगा।
-होटल्स और घर पर ठहरने देने वाले लोगों को यह सुनिश्चित करना होगा कि पर्यटक पूरी तरह से स्वस्थ हैं और पर्यटक में फ्लू आदि के लक्षण नहीं पाए गए हैं। इसके बाद ही प्रवेश की अनुमति दी जाए।
– किसी भी कीमत पर समाजिक दूरी का हर समय पालन करना होगा। पर्यटकों को ठहरने वाले स्थान से बाहर निकलने पर मास्क पहनना अनिवार्य है।
-पर्यटकों को खुद की और स्थानीय लोगों की सेहत और सुरक्षा का ख्याल रखना पड़ेगा।