इजराइल-हमास जंग के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा कि हमास का खात्मा जरूरी है लेकिन गाजा पर कब्जा इजराइल की बड़ी गलती होगी।
उन्होंने कहा- हमास ने बर्बरता की है। इस संगठन का खात्मा जरूरी है। लेकिन फिलिस्तीन लोगों के लिए भी देश होना चाहिए, अलग सरकार होनी चाहिए। वहीं, अगर इजराइल गाजा पर कब्जा कर लेता है तो ये उसकी बहुत बड़ी गलती होगी। न्यूज एजेंसी AP के मुताबिक, आने वाले दिनों बाइडेन इजराइल जा सकते हैं। AP ने व्हाइट हाउस के एक अधिकारी के हवाले से कहा कि बाइडेन की इजराइल विजिट की डेट फिलहाल फाइनल नहीं हुई है।
इधर, इजराइल डिफेंस फोर्स ने हमास के हमले से पहले और बाद की सैटेलाइट फोटो शेयर की। इसमें जली हुई इमारतें और काला धुआं दिखा रहा है।
7 अक्टूबर से शुरू हुई जंग का आज 10वां दिन है। अब तक इजराइल के हमलों से गाजा में 2,450 फिलिस्तीनियों की मौत हुई है। इनमें 724 से ज्यादा बच्चे और 370 से ज्यादा महिलाएं शामिल हैं। वहीं, हमास के हमले में करीब 1,400 इजराइली मारे गए हैं।
गाजा के बाद वेस्ट बैंक में भी दिखे इजराइली सैनिक
अलजजीरा के मुताबिक, इजराइली सैनिकों ने वेस्ट बैंक में रेड की है। इस दौरान जेरिको के अकाबत जब्र कैंप में रहना वाला एक फिलिस्तीनी मारा गया है। यहां से कई फिलिस्तियों को गिरफ्तार भी किया गया है। जंग शुरू होने के बाद से वेस्ट बैंक में 53 लोगों की मौत हुई है। 1,100 लोग घायल हुए हैं।
गाजा के लोगों को पनाह नहीं देगा
इजराइल गाजा से लोगों को निकालने पर आमादा है, लेकिन सवाल ये है कि यहां से निकाले जाने के बाद गाजा के लोग शरण कहां लेंगे। 15 अक्टूबर को इजिप्ट ने साफ कर दिया कि वो गाजा के लोगों को अपने सिनाई रेगिस्तान में रुकने की मंजूरी नहीं देगा।
रविवार को इजिप्ट सरकार की नेशनल सिक्योरिटी काउंसिल की इमरजेंसी मीटिंग हुई। प्रेसिडेंट अब्देल फतेह अल सीसी ने इसकी अध्यक्षता की। मीटिंग के बाद जारी बयान में सीसी ने कहा- हमारी सुरक्षा ही हमारी लक्ष्मण रेखा है और इस मामले में कोई समझौता नहीं किया जाएगा।
इस बयान का मतलब साफ है कि गाजा के 20 लाख से ज्यादा लोगों को इजिप्ट अपने देश में नहीं आने देगा। पहले कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि इजिप्ट सिनाई इलाके में टेम्परेरी कैम्प लगाकर इन लोगों को रुकने की मंजूरी दे सकता है। अब UN के सामने सबसे बड़ी दिक्कत इन लोगों को शेल्टर देने की है, क्योंकि इजराइल किसी भी वक्त गाजा में जमीनी कार्रवाई शुरू कर सकता है।
इजराइली सेना जमीनी हमले के लिए तैयार, सरकार से हरी झंडी का इंतजार
इजराइली सेना ने गाजा में मिलिट्री ऑपरेशन की पूरी तैयारी कर ली है। सेना के प्रवक्ता लेफ्टिनेंट जनरल डेनियल हेगेरी ने रविवार रात कहा- हम बिल्कुल तैयार हैं। सिर्फ सरकार की तरफ से हरी झंडी का इंतजार है। इस बारे में हम उनसे बातचीत भी कर रहे हैं।
प्राइम मिनिस्टर बेंजामिन नेतन्याहू ने 15 अक्टूबर को गाजा बॉर्डर पर इजराइली सैनिकों से मुलाकात की। उन्होंने इस सवाल का कोई जवाब नहीं दिया कि इजराइली सेना जमीनी कार्रवाई कब शुरू करेगी। न्यूयॉर्क टाइम्स के मुताबिक, इजराइली डिफेंस फोर्स के 10 हजार सैनिक गाजा में जमीनी हमले के लिए तैयार हैं। बॉर्डर पर कई सौ इजराइली टैंक तैनात हैं।
अहम अपडेट्स…
- अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन आज इजराइल लौट रहे हैं। वो पिछले हफ्ते इजराइल पर हमास के हमले के बाद तेल अवीव पहुंचे थे। इसके बाद यहीं से जॉर्डन, सऊदी अरब और इजिप्ट के दौरे पर गए थे।
- अमेरिका इजराइल से अपने नागरिकों को समुद्र के रास्ते से रेस्क्यू करेगा।
- अमेरिकी विदेश मंत्रालय पेंटागन ने 15 अक्टूबर को बताया कि अब तक 29 अमेरिकी हमास के हमले में मारे जा चुके हैं। इसके अलावा 14 लापता हैं।
- अलजजीरा के मुताबिक, 15 अक्टूबर को अमेरिकी US एयरक्राफ्ट कैरियर USS ड्वाइट डी आइजनहावर मेडिटरेरियन सी की तरफ भेजा है। इस इलाके में अमेरिका का USS गेराल्ड आर फोर्ड वॉरशिप पहले से ही तैनात है।
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रविवार को सेना ने कहा कि उसने किबुत्ज नीरिम और किबुत्ज नीर ओज में हमला करने वाले हमास कमांडर को मार गिराया है। सेना ने कहा- हमास के नुखबा यूनिट का कमांडर बिलाल अल-केदरा मारा गया है।
इसके पहले 14 अक्टूबर को इजराइली सेना ने हमास के दो बड़े कमांडरों को मार गिराया। सेना ने बताया कि उन्होंने 7 अक्टूबर को इजराइल पर हुए हमले को लीड करने वाले कमांडर अली कादी को मार गिराया है। अली कादी को मारने का काम इजराइल की इंटरनल इटेलिजेंस एजेंसी शिन बेत ने किया है। इसी तरह, हमास का एयरफोर्स हेड मुराद अबु मुराद भी इजराइली हमले में मारा गया।
UN बोला- गाजा के अस्पतालों में 24 घंटे का इमरजेंसी बिजली बची
10 अक्टूबर को इजराइल ने गाजा की तरफ वाटर और इलेक्ट्रिसिटी सप्लाई को रोक दिया था। इससे वहां पानी खत्म होने की कगार पर है। UN ने कहा है कि इससे 20 लाख लोगों की जिंदगी दांव पर लगी है। वहां के अस्पतालों में 24 घंटे की इमरजेंसी इलेक्ट्रिसिटी बची है। इसके बाद अस्पतालों में रखे इक्यूपमेंट्स काम करना बंद कर देंगे। इससे पेशेंट्स की जिंदगी को खतरा है।
इसके पहले वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन का कहना है कि गाजा के अस्पतालों में भर्ती मरीजों को देश छोड़ने के लिए मजबूर करना मृत्युदंड जैसा है। दरअसल, इजराइली हमलों में 19 से ज्यादा अस्पतालों को नुकसान पहुंचा है। 20 से ज्यादा एम्बुलेंस तबाह हुई हैं। ऐसे में मरीज को भी इवैक्यूएट किया जा रहा है। इन्हें गाजा में ही दूसरे सुरक्षित अस्पतालों में भी जगह नहीं मिल रही क्योंकि वहां हजारों घायलों का इलाज हो रहा है। मरीज भी देश छोड़ने को मजबूर हैं।