नई दिल्ली। कोरोना वायरस से भारत में संक्रमित होने वाले लोगों की संख्या लगातार बढ़ती ही जा रही है। कोविड 19 की गंभीरता से सभी वाकिफ हैं और सरकार से लेकर खेल संघ तक इसको लेकर सजग है। सरकार ने कोरोना से बचाव के दिशा निर्देश लागू कर दिए हैं और खेल संघ खिलाड़ियों के स्वास्थय को प्राथमिकता देते हुए खेलों के आयोजन पर योजना बना रही है।
भारत को अगले साल फीफा अंडर 17 महिला फुटबॉल विश्व कप की मेजबानी का जिम्मा मिला है। टूर्नामेंट को दो बार टाला जा चुका है और अब इसके आयोजन को लेकर अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ प्रतिबद्ध नजर आ रहा है। संघ के महासचिव कुशल दास ने सोमवार को कहा कि कोरोना वायरस महामारी के बढ़ते मामलों के बीच फीफा अंडर-17 महिला विश्व कप दर्शकों के बिना भी हो सकता है। दो बार स्थगित हो चुका यह टूर्नामेंट अगले साल 17 फरवरी से सात मार्च के बीच होगा।
दास ने कहा, ‘बदतर हालात में हमें इसे दर्शकों के बिना ही कराना होगा और यह दुखद होगा।’ अब तक कोरोना महामारी से देश में 22000 से अधिक जानें जा चुकी हैं, जबकि संक्रमितों की संख्या आठ लाख से ऊपर है। टूर्नामेंट के लिए शिविर अगस्त में लगेगा और झारखंड मेजबानी की दौड़ में अग्रणी है।
सीनियर पुरुष टीम को अक्टूबर में कतर और नवंबर में अफगानिस्तान के खिलाफ विश्व कप क्वालीफायर खेलने हैं और दास का कहना है कि इसके लिए शिविर भुवनेश्वर में लगेगा। उन्होंने आगे कहा, ‘खिलाडि़यों की जांच का खर्च एआइएफएफ उठाएगा, जिसे फीफा से आíथक सहायता की उम्मीद है। फीफा से मदद की पहली किश्त 20 जुलाई के आसपास आने की उम्मीद है।’