रामपुर। भड़काऊ भाषण के मामले में एमपीएमएलए कोर्ट ने सपा विधायक आजम खां की ओर से फैसले की तारीख टालने के लिए दिए गए प्रार्थना पत्र को खारिज कर दिया है। बचाव पक्ष की ओर से यह कहते हुए प्रार्थना पत्र दिया गया था कि उनका मामला हाईकोर्ट में विचाराधीन है। इसलिए फैसले की तारीख को आगे बढ़ाया जाए। कोर्ट ने उनकी दलील खारिज करते हुए मामले की अगली सुनवाई 21 अक्तूबर को ही निर्धारित कर दी है। कोर्ट की इस कार्रवाई को आजम के लिए झटके के तौर पर देखा जा रहा है।
मिलक कोतवाली में लोकसभा चुनाव के दौरान भड़काऊ भाषण देने का यह मामला दर्ज किया गया था। यह मामला फिलहाल कोर्ट में विचाराधीन है। इस मामले में गवाह बनाए गए सभी पांच गवाहों की गवाही पूरी हो गई है। इस मामले में कोर्ट को बचाव पक्ष की ओर से अपने पक्ष में गवाहों की सूची सौंपी थी,जिसमें से पांच की गवाही पूरी हो गई है।
बुधवार को सपा विधायक के अधिवक्ताओं की ओर से एक प्रार्थना पत्र दिया गया,जिसमें कहा गया कि उनका यह मामला हाईकोर्ट में विचाराधीन है इसलिए 21 अक्तूबर को आने वाले फैसले की तारीख को टाल दिया जाए।
भाजपा नेता के अधिवक्ता संदीप सक्सेना मुताबिक इस मामले में सुनवाई हुई। उनके मुताबिक कोर्ट में बचाव पक्ष के अधिवक्ताओं की दलील को खारिज करते हुए बचाव पक्ष का प्रार्थना पत्र खारिज कर दिया। अब इस मामले की सुनवाई 21 अक्तूबर को होगी। इसी दिन इस मामले का फैसला आ सकता है।