लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एल-1, एल-2 तथा एल-3 कोरोना चिकित्सालयों में कुल 78,033 बेड की व्यवस्था हो जाने पर संतोष व्यक्त करते हुए इस माह के अन्त तक इन चिकित्सालयों में कुल बेड की संख्या को बढ़ाकर एक लाख किए जाने के निर्देश दिए हैं।
प्रत्येक जनपद में अपर निदेशक या संयुक्त निदेशक स्तर के अधिकारी को करें नामित
मुख्यमंत्री गुरुवार को यहां अपने सरकारी आवास पर आयोजित एक उच्च स्तरीय बैठक में लाॅकडाउन व्यवस्था की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कोरोना के खिलाफ किए जा रहे प्रयासों में मुख्य चिकित्सा अधिकारियों को सहयोग प्रदान करने के लिए प्रत्येक जनपद में स्वास्थ्य विभाग के अपर निदेशक अथवा संयुक्त निदेशक स्तर के अधिकारी को नामित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जनपदवार तैनात किए जाने वाले इन अधिकारियों की सूची मुख्यमंत्री कार्यालय को उपलब्ध कराई जाए।
स्वच्छता सम्बन्धी कार्यों में न बरती जाए शिथिलता
उन्होंने निर्देश दिए कि कोविड चिकित्सालयों में व्यवस्थाओं को चुस्त-दुरुस्त रखा जाए। स्वच्छता सम्बन्धी कार्यों में कोई शिथिलता न बरती जाए। यह सुनिश्चित किया जाए कि चिकित्सक नियमित तौर पर राउण्ड लें। नर्सिंग व पैरामेडिकल स्टाफ चिकित्सालयों में निरन्तर उपलब्ध रहें। पैरामेडिक्स चिकित्सा उपकरणों के क्रियाशील होने की नियमित जांच करते रहें। उन्होंने सभी जनपदों में पीपीई किट, एन-95 मास्क, थ्री लेयर मास्क, सेनिटाइजर, दवाई, पल्स ऑक्सीमीटर, अल्ट्रारेड थर्मामीटर आदि की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश भी दिये।
डाॅक्टर-टेक्निशियन की सूची मुख्यमंत्री कार्यालय को करायें उपलब्ध
मुख्यमंत्री ने सभी जनपदों में एनेस्थेसीओलाॅजिस्ट व तकनीकी कर्मियों को प्रशिक्षित करते हुए वेंटीलेटरों के सुचारू संचालन के लिए नामित करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि इन डाॅक्टरों व टेक्निशियनों की सूची मुख्यमंत्री कार्यालय को उपलब्ध करायी जाए। सभी वेंटीलेटरों को क्रियाशील रखा जाए।
कोरोना जांच नमूनों की संख्या बढ़ाकर प्रतिदिन 10,000 करें
उन्होंने कोरोना जांच नमूनों की क्षमता को बढ़ाकर 10,000 टेस्ट प्रतिदिन करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि प्रत्येक जनपद में टेस्टिंग लैब की स्थापना का निर्णय किया गया है। इस कार्य को समयबद्ध ढंग से पूरा किया जाए, जिससे टेस्टिंग क्षमता में उल्लेखनीय वृद्धि की जा सके। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में भर्ती मरीजों को सुपाच्य भोजन एवं शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराया जाए। मरीजों से संवाद के लिए एक सिस्टम विकसित किया जाए।
मोबाइल एप ‘चिकित्सा सेतु’ का करें उपयोग
मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना के संक्रमण के प्रसार में मेडिकल इन्फेक्शन एक महत्वपूर्ण कारक है। चिकित्सा कर्मियों को संक्रमण से सुरक्षित रखने के लिए उनका गहन प्रशिक्षण आवश्यक है। चिकित्सा कर्मियों का प्रशिक्षण कार्य निरन्तर जारी रखा जाए। इस कार्य में चिकित्सा शिक्षा विभाग द्वारा लाॅन्च किये गये मोबाइल एप ‘चिकित्सा सेतु’ का भी उपयोग किया जाए। इस एप में कोविड-19 से बचाव, पीपीई किट तथा एन-95 मास्क के प्रयोग, संक्रमित मरीजों को शिफ्ट करने आदि के सम्बन्ध में उपयोगी जानकारी दी गयी है।
प्रतिदिन अधिकारी बैठक कर तय करें आगे की रणनीति
मुख्यमंत्री ने कहा कि वैश्विक महामारी कोरोना एक अदृश्य शत्रु के खिलाफ संघर्ष है। राज्य को कोरोना से उत्पन्न स्थितियों से निपटने में अभी तक उल्लेखनीय सफलता प्राप्त हुई है। इस संघर्ष में आगे भी सफलता प्राप्त करने के लिए पूरी सावधानी व सतर्कता बरतते हुए टीम भावना के साथ कार्य करना होगा। उन्होंने कहा कि मण्डलायुक्त तथा पुलिस महानिरीक्षक, जिलाधिकारी व पुलिस अधीक्षक तथा जिलाधिकारी एवं मुख्य चिकित्साधिकारी बेहतर पारस्परिक समन्वय से कार्य करें। यह सभी अधिकारी प्रतिदिन बैठक करते हुए आगे की रणनीति तय करें।
सभी जरूरतमंद परिवारों को उपलब्ध हो खाद्यान्न
उन्होंने कहा कि प्रत्येक जनपद में जिलाधिकारी तथा जिला पूर्ति अधिकारी सभी जरूरतमंद परिवारों को खाद्यान्न की उपलब्धता सुनिश्चित करें। यह भी सुनिश्चित किया जाए कि घरेलू एकांतवास (होम क्वारंटाइन) के लिए घर जाने वाले प्रत्येक प्रवासी कामगार, श्रमिक को राशन किट उपलब्ध हो जाए। एकांतवास केन्द्र (क्वारंटाइन सेन्टर) तथा सामुदायिक रसोई (कम्युनिटी किचन) में स्वच्छता तथा सुरक्षा के पुख्ता इन्तजाम किए जाएं। सामुदायिक रसोई के माध्यम से सभी जरूरतमंदों को अच्छा व पर्याप्त भोजन उपलब्ध कराया जाए। उन्होंने निर्देश दिए कि प्रदेश में कोई भी व्यक्ति भूखा नहीं रहना चाहिए।
‘आरोग्य सेतु’ व ‘आयुष कवच कोविड’ एप का करें प्रचार
मुख्यमंत्री ने लाॅकडाउन को सफल बनाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि घरों में आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति व्यवस्था को जोखिम क्षेत्र (कंटेनमेंट जोन) में सुचारु ढंग से संचालित किया जाए। शारीरिक दूरी (सोशल डिस्टेंसिंग) का कड़ाई से पालन कराया जाए। यह सुनिश्चित करने के लिए पुलिस द्वारा प्रभावी पेट्रोलिंग की जाए। बाॅर्डर क्षेत्रों, हाई-वे तथा एक्सप्रेस-वे एवं बाजारों में निरन्तर पेट्रोलिंग हो।
यह सुनिश्चित किया जाए कि बाॅर्डर क्षेत्रों में पैदल अथवा असुरक्षित वाहनों से कोई अवैध रूप से आने न पाए। यातायात नियंत्रण में ट्रैफिक पुलिस कर्मियों को सहयोग करने के लिए पीआरडी के जवानों तथा भूतपूर्व सैनिकों की सेवाएं ली जाएं। उन्होंने कहा कि ‘आरोग्य सेतु’ तथा ‘आयुष कवच कोविड’ मोबाइल एप का व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाए, ताकि लोग इन एप को डाउनलोड कर अपने को सुरक्षित रख सकें।
आर्थिक पैकेज में कम किराये पर मकान देने की योजना पर हो काम
मुख्यमंत्री ने केन्द्र सरकार द्वारा घोषित 20 लाख करोड़ रुपये के विशेष आर्थिक पैकेज में कम किराये पर मकान देने की योजना को आगे बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इस योजना के क्रियान्वयन से प्रवासी कामगारों, श्रमिकों को रोजगार उपलब्ध कराने में भी मदद मिलेगी। उन्होंने ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों में कराये गए सेनिटाइजेशन कार्य का विवरण मुख्यमंत्री कार्यालय को उपलब्ध कराने के निर्देश भी दिए।