कार्वी के निवेशकों को मिलेगा पैसा, 4 मार्च तक करना होगा क्लेम

नई दिल्ली। कार्वी स्टॉक ब्रोकिंग के निवेशकों को जल्द ही पैसा मिलना शुरू हो जाएगा। इसके डीमैट और ट्रेडिंग अकाउंट की बीडिंग प्रक्रिया पूरी हो गई है। एक्सिस सिक्योरिटीज ने ट्रेडिंग अकाउंट की बिड जीती है जबकि IIFL सिक्योरिटीज ने डीमैट अकाउंट की बिड जीती है। निवेशकों को पैसे पाने के लिए 4 मार्च तक दावा करना होगा।

IIFL का शेयर आज 10% बढ़ कर 65 रुपए पर पहुंचा

इस खबर के बाद IIFL का शेयर आज 10% बढ़ कर 65 रुपए पर पहुंच गया। यह एक साल का सबसे ज्यादा प्राइस इस स्टॉक का है। IIFL सिक्योरिटीज ने 140 करोड़ रुपए में कार्वी के डीमैट अकाउंट को खरीदा है। निवेशक जल्द ही इसी डीमैट अकाउंट से फिर से कारोबार कर सकेंगे। कार्वी स्टॉक फर्जीवाड़ा का काम कर रही थी। कार्वी के पास जितने डीमैट अकाउंट हैं उसमें 3.01 लाख करोड़ रुपए है। IIFL ने 11 लाख डीमैट अकाउंट की बिड जीती है।

तीन एक्सचेंज ने पूरा किया बिड का कार्यक्रम

इस बीडिंग का कार्यक्रम बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE), नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) और मेट्रोपोलिटन स्टॉक एक्सचेंज (MSE) ने किया था। इस बीडिंग के बाद अब पैसे लौटाने का कार्यक्रम शुरू होगा। 4 मार्च तक जो दावा मिलेगा, उसके बाद इसे वेरीफाई किया जाएगा और फिर निवेशकों को पैसे मिलेंगे। फर्जीवाड़ा में पकड़े जाने के बाद शेयर बाजार रेगुलेटर सेबी ने कार्वी का लाइसेंस सस्पेंड कर दिया था।

एक्सचेंज ने 2019 में टर्मिनल सस्पेंड किया था

दोनों प्रमुख एक्सचेंज NSE और BSE पर सेबी के आदेश पर दिसंबर 2019 में कार्वी का कारोबारी टर्मिनल बंद कर दिया गया था। हालांकि निवेशकों के फंसे पैसे पर इसका असर नहीं हुआ। इसे दिलाने के लिए तमाम व्यवस्थाएं की गईं। इस बिड को जीतने के बाद IIFL सिक्योरिटीज देश की तीसरी सबसे बड़ी ब्रोकिंग प्लेटफॉर्म हो जाएगी। इसके डीमैट खातों की संख्या 13.83 लाख हो जाएगी। एक्सिस सिक्योरिटीज के पास इस डील से 36 लाख ग्राहक हो जाएंगे जो अभी 25 लाख हैं।

डेढ़ साल से बंद पड़ा था अकाउंट

IIFL सिक्योरिटीज के चेयरमैन आर. वेंकटरमन ने कहा कि 11 लाख निवेशकों के अकाउंट करीबन डेढ़ साल से बंद पड़े थे। अब दोबारा शेयर बाजार में ये निवेशक कारोबार कर सकेंगे। कार्वी स्टॉक ब्रोकिंग ने पैसा जुटाने के लिए अपने ग्राहकों के ही शेयरों को गिरवी रख दिया था। जब इसका पता सेबी को चला तो उसने तुरंत कार्वी का लाइसेंस रद्द कर दिया और कारोबार पर रोक लगा दी। इस वजह से निवेशकों के पैसे इसमें फंस गए।

कार्वी के CDSL के पास कुल 3.83 लाख अकाउंट हैं जबकि NSDL के पास 7.23 लाख अकाउंट हैं। इसमें कुल 3.01 लाख करोड़ रुपए हैं। इसमें CDSL के पास 17,574 करोड़ रुपए और NSDL के पास 2.84 लाख करोड़ रुपए हैं। सीडीएसएल और एनएसडीएल दोनों डिपॉजिटरी कंपनी हैं।

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