नई दिल्ली। कोविड के दौरान घर से काम करने की सुविधा एंप्लॉयीज को इतनी पसंद आई है कि उसको जारी रखने के लिए ज्यादातर वर्कर सैलरी में कटौती को भी तैयार हैं। एक ग्लोबल स्टडी के मुताबिक, लगभग तीन चौथाई एंप्लॉयी आने वाले समय में ज्यादा रिमोट वर्क करना पसंद करेंगे।
कम सैलरी पर भी काम करने को तैयार हैं 60% एंप्लॉयी
83% वर्कर्स का कहना है कि उनको रिमोट वर्क की सहूलियत मिलती रही तो वे कंपनी के साथ बने रहना चाहेंगे। रिसर्च और एडवाइजरी फर्म फॉरेस्टर की स्टडी में शामिल 60% एंप्लॉयी ने कहा कि वे रिमोट वर्क के लिए कम सैलरी पर भी काम कर सकते हैं।
56% एंप्लॉयी की राय में रिमोट वर्क से बढ़ी है उनकी उत्पादकता
हालांकि बहुत से कॉरपोरेट और बिजनेस लीडर को रिमोट वर्क से कामकाज में कोई फायदा होता नजर नहीं आ रहा है और इसको लेकर वे रूढ़िवादी रुख अपना रहे हैं। 56% एंप्लॉयी का कहना है कि रिमोट वर्क से उनकी उत्पादकता बढ़ी है और 61% के मुताबिक वे आठ घंटे की शिफ्ट में ज्यादा काम कर सकते हैं। लेकिन सिर्फ 5% एंप्लॉयर ही रिमोट वर्क को प्रॉडक्टिविटी बढ़ाने वाला मानते हैं जबकि 70% को एंप्लॉयी ऑफिस में ज्यादा अच्छे लगते हैं।
62% एंप्लॉयी ने कहा, वर्क फ्रॉम होम में दफ्तर से ज्यादा खुशी
स्टडी में शामिल 62% एंप्लॉयी ने कहा कि उनको दफ्तर में काम करने से ज्यादा खुशी वर्क फ्रॉम होम में मिलती है। रिमोट वर्क को लेकर जो एंप्लॉयी ज्यादा संतुष्ट थे, उनमें से 89% अपनी कंपनी को लेकर अच्छा सोच रहे थे, 90% वर्कर को अपना काम अच्छा लग रहा था और 95% वर्कर अपने काम से पूरी तरह संतुष्ट थे। लेकिन जो एंप्लॉयीज रिमोट वर्किंग व्यवस्था से कम संतुष्ट थे, उनमें से सिर्फ 52% को अपनी कंपनी अच्छी लग रही थी, 57% को काम अच्छा लग रहा था और 65% ही अपने काम से पूरी तरह संतुष्ट थे।
21% एंप्लॉयी ने कहा, पसंद के हिसाब से वर्क स्पेस चुनने की आजादी
सर्वे में शामिल आधे बिजनेस लीडर का कहना था कि उनकी कंपनी ने अपने यहां रिमोट वर्क की औपचारिक व्यवस्था की हुई है। लेकिन इनमें से एक पर्सेंट से भी कम कंपनियां ही फॉरेस्टर के फ्लेक्सिबल वर्क प्रोग्राम के मानकों पर खरा उतरीं। सर्वे में शामिल ऐसे सिर्फ 21% एंप्लॉयी थे, जिन्होंने कहा कि उनको कंपनी में अपनी पसंद के हिसाब से काम का तरीका चुनने की आजादी है।
रिमोट वर्क के नियम जानने वाले एंप्लॉयी के संतुष्ट होने की संभावना दोगुनी
सर्वे में शामिल सिर्फ 38% एंप्लॉयी ने कहा कि उनकी कंपनी में रिमोट वर्क के तौर-तरीकों को लिखित रूप दिया गया है। 18% वर्कर ने कहा कि उन्होंने वर्क फ्रॉम होम के बाबत तय किए गए नियमों और तौर-तरीकों को खुद पढ़ा है। स्टडी के मुताबिक जो एंप्लॉयी रिमोट वर्क के नियम अच्छे से जानते हैं, उनके उससे संतुष्ट होने की संभावना दोगुनी है।
टेक्नोलॉजी से जुड़ी खरीदारी का फैसला HT और IT दोनों के इनपुट से लेना सही
स्टडी के मुताबिक कंपनियां यह बात बखूबी समझती हैं कि टेक्नोलॉजी के बाबत फैसले एकतरफा या सिर्फ बचत के मकसद से नहीं लिए जा सकते। सर्वे में शामिल 82 बिजनेस लीडर्स ने कहा कि टेक्नोलॉजी से जुड़ी खरीदारी का फैसला HT और IT दोनों के बराबर इनपुट पर लिया जाना चाहिए लेकिन इस फॉर्मूले पर सिर्फ 51% कंपनियां काम कर रही हैं।