नई दिल्ली। राजधानी दिल्ली में कोरोना वायरस के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं, जिसके मद्देनजर व्यापारी समुदाय भी चिंतित हैं। व्यापारियों की शीर्ष संस्था कन्फेडरेशन आॉफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) की रविवार को इस मुद्दे पर वीडियो कांफ्रेंस के जरिए बैठक होने जा रही है, जिसमें बाजारों को खुला रखने या बंद करने पर फैसला किया जाएगा।
कैट ने शनिवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन, शहरी विकास मंत्री हरदीप पुरी, दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल तथा मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल को पत्र लिखकर इस मुद्दे पर विचार-विमर्श करने का आग्रह किया है। हालांकि, कैट ने इसको लेकर एक सर्वे भी कराया है, जिसमें अधिकांश व्यपारियों ने बंद करने पर सहमति जताई है।
कैट के राष्ट्रीय महासचिव प्रवीन खंडेलवाल ने कहा कि हमने इस मुद्दे पर दिल्ली के कारोबारी संगठनों और प्रमुख व्यापारी नेताओं से एक ऑनलाइन सर्वे द्वारा उनकी राय मांगी थी। सर्वे में लोगों ने दिल्ली के वर्तमान हालत पर गहरी चिंता व्यक्त करते हुए बताया है कि इन हालात में वे मानसिक तनाव में हैं। उन्होंने कहा कि जिस तरीके के हालात बने हैं और सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली में चिकित्सा सुविधाओं पर टिप्पणी की है, वह चिंताजनक है।
खंडेलवाल ने बताया कि ऑनलाइन सर्वे में 99.4 फीसदी व्यापारियों ने कहा है कि दिल्ली में कोविड-19 के मामले तेजी से बढ़ रहे है। वहीं 92.8 फीसदी ने माना है कि बाजार खुलने की वजह से कोरोना का संक्रमण तेजी से फैल रहा है। हालांकि, सर्वे में 88.1 फीसदी व्यापारियों ने कहा है कि इस स्थिति वे बाजार बंद करने के पक्ष में है।
कैट के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष विपिन आहूजा ने बताया की इस विषय पर अंतिम रूप से निर्णय लेने के लिए रविवार, 13 जून को दिल्ली के प्रमुख व्यापारी संगठनों एवं व्यापारी नेताओं की एक वीडियो कॉन्फ्रेंस बैठक बुलाई गई है। इस बैठक में सर्वे रिपोर्ट को रखा जाएगा और दिल्ली के सभी व्यापारी मिलकर इस बात का निर्णय करेंगे कि बाजारों को खुला रखा जाए या बंद किया जाए।