अयोध्या। राम नगरी अयोध्या में जहां रामलला के भव्य मंदिर की नींव तैयार हो रही है तो दूसरी तरफ मस्जिद निर्माण के लिए पहल जारी है। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर यूपी सरकार ने सुन्नी वक्फ बोर्ड को 5 एकड़ जमीन मस्जिद बनाने के लिए धन्नीपुर गांव में जमीन दी थी। इस जमीन पर बनने वाले मस्जिद का नक्शा 14 पार्ट में बनाया गया है।
यह नक्शा अयोध्या पहुंच चुका है। इंडो इस्लामिक कल्चरल फाउंडेशन (IICF) ट्रस्ट के स्थानीय ट्रस्टी कैप्टन अफजाल खान ने बताया कि अयोध्या विकास प्राधिकरण (ADA) के उपाध्यक्ष विशाल सिंह इस समय छुट्टी पर हैं। उनके ड्यूटी जॉइन करते ही नक्शे को अयोध्या विकास प्राधिकरण में जमा कर दिया जाएगा।
सात सूत्री मांगपत्र भी सौंपा जाएगा
कैप्टन अफजाल ने बताया कि नक्शे के साथ 7 सूत्रीय मांग पत्र भी प्राधिकरण को सौंपा जाएगा। जिसमें NH-27 से मस्जिद साइट तक चौड़ी सड़क दोनों तरफ वृक्षारोपण के साथ, रौनाही में बस स्टेशन, मस्जिद तक ट्रांसपोर्ट सेवा, हरियाली विकसित करने के लिए 5 एकड़ जमीन के अतिरिक्त जमीन की व्यवस्था, हाई-वे पर जगह-जगह मस्जिद के बारे में लोकेशन बताने के चिन्ह का प्रस्तुतीकरण आदि की मांग की गई है।
एक साल में खड़ा हो जाएगा मस्जिद का स्ट्रक्चर
मस्जिद ट्रस्ट के सचिव अतहर हुसैन के मुताबिक ADA से नक्शा अप्रूव होने के बाद एक साथ में मस्जिद काम्प्लेक्स का स्ट्रक्चर खड़ा हो जाएगा। इसके लिए मुंबई के एक बडे़ ग्रुप ने निर्माण का पूरा काम करवाने का वादा किया है। धन्नीपुर मस्जिद के प्राजेक्ट की मूल आर्किटेक्ट डिजाइन में कोई परिवर्तन नहीं किया गया है। केवल ADA के मानक को पूरा करने के लिए ही कुछ संशोधन इसके आर्किटेक्ट डिजाइन में किए गए हैं।
उन्होंने कहा कि हमें आयकर की धारा 80G की छूट के आदेश का इंतजार है। इसके प्राप्त होने के बाद लोगों की लाखों की सहयोग राशि जमा करने का सिलसिला शुरू हो जाएगा। उन्होंने बताया कि मस्जिद के नक्शे को 7 अप्रैल को प्राधिकरण में जमा करना था। रविवार को प्राधिकरण के उपाध्यक्ष विशाल सिंह से वार्ता हुई। उस समय उनकी पत्नी कोरोना पॉजिटिव हो गई थीं, जिसके कारण वे आइसोलेशन में थे।
मस्जिद नहीं हास्पिटल है मुख्य प्रोजेक्ट
अतहर हुसैन के मुताबिक 5 एकड़ मस्जिद काम्पेक्स प्रोजेक्ट में सबसे बड़ा प्राजेक्ट हास्पिटल का है, जो 24 हजार वर्ग मीटर क्षेत्र पर बनेगा। जबकि मस्जिद 1200 वर्ग मीटर पर बनेगी। इसके चारों तरफ की ग्रीन पैच को लेकर इसका क्षेत्र केवल 2200 वर्ग मीटर का ही रहेगा। 500 वर्गमीटर में म्यूजियम बनेगा, जबकि कम्युनिटी किचन, कल्चरल रिसर्च सेंटर आदि के प्राजेक्ट सुपर स्पेसियलिटी हास्पिटल के भवन में ही एक अलग पार्ट के तौर बनेंगे।
हमारा फोकस मस्जिद से ज्यादा इंडो कल्चर के प्रस्तुतीकरण पर ज्यादा रहेगा। फिलहाल करीब 20 लाख रुपए की दान की धनराशि खाते में हैं। जिसमें हिंदू भाइयों की दी गई सहयोग राशि भी शामिल है।