ब्लॉक प्रमुखों के आरक्षण की फर्जी सूची सोशल मीडिया पर वायरल, हड़कंप, जांच के निर्देश

लखनऊ। त्रि–स्तरीय पंचायत में प्रमुख पदों में शुमार ब्लॉक प्रमुख का आरक्षण शनिवार को सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। इसको लेकर सरकार और शासन में हड़कंप मच गया। हालांकि अपर मुख्य सचिव पंचायती राज मनोज कुमार सिंह ने इसे फर्जी बताते हुए कहा इसकी जांच होगी। उन्होंने कहा कि ब्लॉक प्रमुखों के आरक्षण की घोषणा जिलाधिकारी करेंगे।

सरकार की तरफ से अपर मुख्य सचिव पंचायती राज मनोज कुमार सिंह ने शुक्रवार को ही जिला पंचायत अध्यक्षों का आरक्षण घोषित किया था। साथ उन्होंने जिले में आरक्षित होने वाले ब्लाकों की संख्या तय कर दी थी। इन्हीं तय ब्लाकों को जिलाधिकारियों को अपने स्तर से आरक्षित कर 2 और 3 मार्च तक जारी करना है।

शनिवार दोपहर बाद जारी हो गई थी फर्जी सूची

इसके पहले ही शनिवार को दोपहर बाद सोशल मीडिया पर 54 पेज में राज्य के सभी 826 ब्लाकों में आरक्षण की स्थिति जारी हो गई। इस जानकारी के बाद सरकार और शासन के अफसरों में हड़कंप मच गया। इस बारे में अपर मुख्य सचिव पंचायती राज मनोज कुमार सिंह ने पूछने पर सोशल मीडिया पर आयी आरक्षण सूची को फर्जी करार दिया। उन्होंने कहा इसकी जांच करायी जाएगी। आरक्षण का कार्य जिलाधिकारी अपने स्तर करेंगे।

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