सीतापुर। कोरोना काल में लॉकडाउन से प्रभावित आम जन की मदद करने में जनपद में जहां समाजसेवियों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया है, वहीं पशु पक्षियों का भी ध्यान रखने वालों की कमी नहीं रही। जनपद में कई संगठन व समाज सेवी ऐसे भी हैं, जिन्होंने पूरे लॉकडाउन के दौरान केवल पशु पक्षियों की सेवा में दिन रात एक कर दिया। इन्ही में एक नाम दिनेश आम्बेडकर गाँधी का भी है, जो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की प्रेरणा से लॉक डाउन घोषित होते ही लॉक डाउन-5 में भी निरन्तर पशु पक्षियों की देखभाल अपनी टीम के साथ युद्धस्तर पर कर रहे हैं।
पशुओं के पीने हेतु बनवायी 151 नादें
लॉकडाउन के खुलते ही जहां गर्मी ने भी अपना प्रकोप दिखाना शुरू कर दिया है, वहीं सड़कों पर बेसहारा पशुओं की भी भरमार हो रही है। गर्मी के कारण जानवर प्यास से व्याकुल न हो, इसके लिए दिनेश आंबेडकर गांधी ने गोवंश व बेजुबान पशु-पक्षियों, जीव-जंतुओं के लिए गर्मी में बचने के लिए 151 पानी रखने के बड़े प्याले बनवाएं हैं। यह नांदे शहर के विभिन्न प्रमुख स्थलों पर रखी गई है, जहां पशु-पक्षियों का जमावड़ा रहता है।
30 लीटर पानी की क्षमता वाले यह बड़े प्याले सीमेंट के बने हुए हैं। लगभग ₹300 की लागत से निर्मित एक नांद को उनकी टीम ने अच्छी तरीके से रंगरोगन कर चौराहों पर रखने का कार्य किया है। टीम द्वारा प्रतिदिन उनमें पशुओं के लिए पीने हेतु पानी भरने की भी चिन्ता की जा रही है। इन 151 नादों पर लगभग 45 हजार रुपये की लागत आयी है।
पूर्णबन्दी में निरंतर चला अभियान
दिनेश आंबेडकर गांधी ने बताया कि हमारी टीम के सभी सदस्यों द्वारा पूर्णबन्दी में 29 मार्च से कार्य करना प्रारंभ कर दिया था, जो आज भी अनवरत जारी है। जनसामान्य के साथ पशु-पक्षियों, श्वानों, वानरों को भी रोटियां व चारा, फल-सब्जी खिलाने का प्रबंध किया गया था। इसके अलावा टीम द्वारा जनपद में निकलने वाले पैदल यात्रियों को भी निरंतर भोजन पैकेट,राहत देने का काम किया गया।
पशुओं के चारे के लिए मंदिर में खोला कार्यालय
पशुओं की देखभाल में लगी इस टीम द्वारा शहर के सब्जी मंडी स्थिति श्री नारायण धाम मंदिर व शीतला माता मंदिर पर बाकायदा एक कार्यालय खोला गया है, जिसमें सुबह 7 से 12 बजे तक पशुओं के लिए चारा, सब्जी, रोटी आदि का प्रबंध किया जाता है। इस टीम से जुड़े लोग 12 बजे दोपहर से एक वाहन से निकलकर पूरे शहर में पशु-पक्षियों, श्वानों वानरों, चीटियों आदि को भोजन उपलब्ध कराने व उन्हें खिलाने का कार्य कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री योगी के गौप्रेम से हैं प्रभावित
दिनेश आंबेडकर गांधी ने बताया कि वह मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के गौप्रेम से बहुत प्रभावित हैं। पहली बार उत्तर प्रदेश को कोई गौप्रेमी मुख्यमंत्री मिला है। पूर्ण बन्दी में हमारी टीम के द्वारा गौशाला व सड़कों पर घूम रहे बेसहारा, बेजुबान पशुओं को भूसा, हरा चारा,रोटी, सब्जी खिलाने का कार्य किया गया जो अभी जारी है। उन्होंने बताया कि इस सेवा कार्य के दौरान कई आवारा पशु नाले में गिरे पड़े मिले, हमारी टीम के द्वारा रेस्क्यू कर उनके इलाज के प्रबंध के साथ जान बचाने का भी पुण्य काम किया गया है।
नागरिकों व समाजसेवियों का मिला सहयोग
गाँधी कहते हैं कि पूर्ण बंदी घोषित होने के बाद मैंने देखा कि बेजुबान, बेसहारा पशु सड़कों पर भटक रहे हैं, मन में विचार आया कि क्यों न कोरोना आपदाकाल में पशुओं की सेवा की जाये, बस तभी से यह कार्य जारी है। इससे मन में एक अलग तरह की शांति मिलती है। वे कहते हैं कि पशुओं की सेवा का सुख अन्य सुखों से अलग है, मन में एक अलग प्रकार की संतुष्टि प्राप्त होती है। उन्होंने बताया कि इस अभियान में जनपद के कई प्रमुख नागरिकों व समाजसेवियों का भी सहयोग मिला है।
आज भी चल रहे इस सेवा कार्य मे राजकुमार जायसवाल, अंकुर, नैतिक, संदीप, नरेश राजपूत, गोलू सिंह, अमन, रामू शाह, प्रदीप मौर्या, शिवम शुक्ला, राकेश जायसवाल, शानू जायसवाल आदि अपनी प्रमुख भूमिका निभा रहें हैं।