राज्यसभा में एनडीए की स्थिति मजबूत, पहली बार 100 सीटों के पार हुए सत्ताधारी

नई दिल्ली। देश के आठ राज्यों की 19 राज्यसभा सीटों पर शुक्रवार को चुनाव हुए। सभी सीटों के परिणाम सामने आ चुके हैं। गुजरात, एमपी, राजस्थान जैसे हिंदी भाषी राज्यों में बीजेपी और कांग्रेस के बीच सीधी टक्कर नजर आई लेकिन अन्य राज्यों में स्थानीय पार्टियों का प्रभाव ही ज्यादा नजर आया।

राज्यसभा चुनाव में आठ सीटें जीतकर बीजेपी ने उच्च सदन में अपनी स्थिति पहले के मुकाबले और अधिक मजबूत कर ली है। बीजेपी पहले ही तीन सीटों पर जीत हासिल कर चुकी है। दूसरी ओर आंध्र प्रदेश की सभी चार सीटों पर वाईएसआर कांग्रेस पार्टी ने कब्जा जमाया है।

राज्यसभा चुनावों में बीजेपी ने एमपी में 2, गुजरात में 3, राजस्थान और झारखंड में 1-1 सीट पर कब्जा जमाया है. इसके अलावा मणिपुर की एक राज्यसभा सीट पर जीत हासिल की है। वहीं कांग्रेस को राजस्थान में 2 सीटें हासिल हुई हैं जबकि गुजरात और मध्य प्रदेश में उसे एक-एक सीट के साथ ही संतोष करना पड़ा।

पूर्व केंद्रीय मंत्री और बीजेपी नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया, कांग्रेस के दिग्विजय सिंह और झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन उन नेताओं में शामिल हैं, जिन्हें राज्यसभा चुनाव में जीत मिली है। हालांकि, गुजरात और मणिपुर में आरोप-प्रत्यारोप के चलते मतगणना की शुरुआत थोड़ी देरी से हुई।

राज्यसभा में बीजेपीनीत एनडीए की 90 सीटें हैं, जो बढ़कर 101 हो गई हैं। 245 सीटों वाले उच्च सदन में बहुमत का आंकड़ा 123 का है। यह पहली बार है, जब एनडीए के राज्यसभा सांसदों की संख्या 100 के पार पहुंची है। इसमें से अकेले बीजेपी के पास 86 सांसद हैं। कांग्रेस के नेतृत्व वाले यूपीए के पास इस समय 65 सीटें हैं।

अगर एनडीए को राज्यसभा में बीजू जनता दल (बीजेडी), एआईएडीएमके और वाईएसआर कांग्रेस जैसी पार्टियों का समर्थन मिलता है तो फिर आसानी से बहुमत का आंकड़ा हासिल हो जाएगा। वहीं, लोकसभा में एनडीए को पूर्ण बहुमत है ही।

गुजरात में सत्तारूढ़ बीजेपी ने तीन सीटें (नरहरी अमीन, अभय भारद्वाज और रामिलाबेन बारा) और कांग्रेस ने एक (शक्तिसिंह गोहिल) जीतीं। मार्च के बाद आठ विधायकों के इस्तीफे की वजह से कांग्रेस के पास दूसरी सीट जीतने का मौका हाथ से निकल गया।

कांग्रेस ने भूपेंद्रसिंह चुडासमा पर इस आधार पर अपना वोट डालने पर आपत्ति जताई कि उनका चुनाव मई में गुजरात उच्च न्यायालय द्वारा रद्द कर दिया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने उस आदेश पर रोक लगा दी है। पार्टी ने केसरीसिंह सोलंकी के वोट डालने पर भी आपत्ति जताई और कहा कि एक अनधिकृत व्यक्ति उनके साथ बूथ के अंदर गया था।

वहीं, राजस्थान में कांग्रेस ने बीजेपी की एक अतिरिक्त सीट जीतने की कोशिश को विफल कर दिया। राजस्थान से कांग्रेस के उम्मीदवार केसी वेणुगोपाल और नीरज डांगी को जीत मिली तो वहीं, बीजेपी की ओर से राजेंद्र गहलोत को जीत हासिल हुई। राज्य में बीजेपी ने दूसरा उम्मीदवार भी उतारा था लेकिन उसे हार का सामना करना पड़ा।

उधर, मध्य प्रदेश के चुनाव में मार्च महीने में बीजेपी में शामिल हुए सिंधिया को जीत मिली। सिंधिया के अलावा बीजेपी के सुमेर सिंह सोलंकी ने भी जीत हासिल की। वहीं, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह कांग्रेस की ओर से राज्यसभा जाने में सफल रहे। झारखंड की बात करें तो पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन और बीजेपी के दीपक प्रकाश ने अपनी अपनी सीट पर जीत हासिल कर ली।

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