बर्दवान। पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव जीतने के लिए भाजपा जी-तोड़से कोशिश कर रही है। इसके लिए वह सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस को तोडऩे पर लगी हुई है। थोक भाव से टीएमसी के नेता भाजपा में शामिल हो रहे हैं, जबकि भाजपा के इस कदम से राज्य के नेता खुश नहीं है, बावजूद इसके भाजपा अपने काम में लगी हुई है।
पश्चिम बंगाल के पुराने भाजपा नेताओं और नए नेताओं में जंग जैसा माहौल हो गया है। पुराने नेताओं में असंतोष बढ़ रहा है, जिसका नतीजा है कि पार्टी दो गुटों में बंटती दिख रही है।
गुरुवार को ऐसा ही एक नजारा देखने को मिला। पूर्वी बर्दवान जिले में दो गुटों में भिड़ंत हुई और पार्टी के दफ्तर में तोडफ़ोड़ की गई। इस दौरान दोनों गुटों के लोगों के बीच पत्थरबाजीी भी हुई।
‘द इंडियन एक्सप्रेस’ की खबर के अनुसार, भाजपा के स्थानीय नेताओं ने कहा कि इनमें से एक गुट पार्टी के पुराने नेताओं का था और उनका ग़ुस्सा इस बात को लेकर था कि पार्टी में दूसरे दलों से आए नए लोगों के कारण उन्हें किनारे किया जा रहा है।
पार्टी के जिस दफ्तर में तोडफ़ोड़ हुई है, उसका राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के द्वारा वर्चुअली उद्घाटन किया जा रहा था और दफ्तर में बैठक चल रही थी।
‘द इंडियन एक्सप्रेस’ के अनुासार , बीजेपी के एक नेता ने कहा कि पुराने नेताओं को सम्मान नहीं दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि उनकी बातों को सुनने के बजाए पार्टी के कुछ कार्यकर्ताओं ने उनसे ही गलत व्यवहार शुरू कर दिया।
बैठक के दौरान ही एक गुट बाहर निकल कर आया और दफ्तर के बाहर खड़े दो मिनी ट्रकों में आग लगा दी। उन्होंने पार्टी दफ्तर पर पत्थर फेंके और खिड़कियां तोड़ दीं। इसके बाद पुलिस आई और उसने हालात को संभाला।
‘द इंडियन एक्सप्रेस’ की खबर के अनुसार, भाजपा के स्थानीय नेताओं ने कहा कि इनमें से एक गुट पार्टी के पुराने नेताओं का था और उनका ग़ुस्सा इस बात को लेकर था कि पार्टी में दूसरे दलों से आए नए लोगों के कारण उन्हें किनारे किया जा रहा है।
पार्टी के जिस दफ्तर में तोडफ़ोड़ हुई है, उसका राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के द्वारा वर्चुअली उद्घाटन किया जा रहा था और दफ्तर में बैठक चल रही थी।
‘द इंडियन एक्सप्रेस’ के अनुासार , बीजेपी के एक नेता ने कहा कि पुराने नेताओं को सम्मान नहीं दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि उनकी बातों को सुनने के बजाए पार्टी के कुछ कार्यकर्ताओं ने उनसे ही गलत व्यवहार शुरू कर दिया।
बैठक के दौरान ही एक गुट बाहर निकल कर आया और दफ्तर के बाहर खड़े दो मिनी ट्रकों में आग लगा दी। उन्होंने पार्टी दफ्तर पर पत्थर फेंके और खिड़कियां तोड़ दीं। इसके बाद पुलिस आई और उसने हालात को संभाला।
वहीं भाजपा नेताओं ने आरोप लगाया कि इस घटना के पीछे टीएमसी के कार्यकर्ताओं का हाथ है जबकि टीएमसी ने कहा कि यह बीजेपी की अंदरूनी लड़ाई का नतीजा है।
बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा है कि अगर उनकी पार्टी का कोई कार्यकर्ता इस घटना में शामिल पाया जाता है तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
टीएमसी की बीरभूम जिले की इकाई के अध्यक्ष अनुब्रता मोंडल ने कहा, ‘बीजेपी के दो गुट एक दूसरे से भिड़े हैं, हम क्यों उनके दफ्तर पर हमला करने जाएंगे। हमारे पास क्या कुछ और काम नहीं है।’
आसनसोल में भी ऐसी ही घटना हुई है, जहां एक बैठक के दौरान बीजेपी के दो गुटों में झड़प हो गई। इस बैठक में केंद्रीय मंत्री बाबुल सुप्रियो और बीजेपी नेता अरविंद मोहन शामिल थे।
हालांकि सुप्रियो का कहना है कि कई कार्यकर्ता एक ही बार में अपनी बात कहना चाहते थे और अपने नेताओं से बात करने में कुछ भी गलत नहीं है।
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