नई दिल्ली। फर्जी SMS भेजकर यूजर्स को झांसे में फंसाने वालों की अब खैर नहीं। DoT यानी डिपार्टमेंट ऑफ टेलिकम्यूनिकेशन्स अब फर्जी और फ्रॉड मेसेज या कॉल करने वालों पर प्रति कॉल 10 हजार रुपये तक का फाइन लगाने वाला है। इसके साथ अब यूजर्स को फर्जी कमर्शियल मेसेज भेजकर फ्रॉड करने वाले सेंडर्स के सभी टेलिकॉम रिसोर्सेज को हमेशा के लिए डिसकनेक्ट भी किया जा सकता है।
फाइनेंशियल पेनाल्टी से कसेगी लगाम
फाइनेंशियल पेनाल्टी से अनचाहे मार्केटिंग कॉल, मेसेज और मोबाइल नेटवर्क के जरिए होने वाले फ्रॉड्स पर लगाम कसी जा सकेगी। एक ऑफिशियल सूत्र के अनुसार DoT 50 से ज्यादा उल्लंघन के बाद टेलिमार्केटिंग करने वालों पर प्रति कॉल या SMS 10 हजार रुपये तक की पेनाल्टी लगाएगा।
DoT ने तैयार किया नया स्लैब
DoT ने यूजर्स के हित को देखते हुए फ्रॉड SMS और टेलिमार्केटिंग के नियमों को कठोर बनाने का प्रस्ताव दिया है। अब 0-10 बार उल्लंघन करने पर हर मेसेज या कॉल के लिए 1 हजार रुपये, 10-50 बार उल्लंघन करने पर प्रति कॉल व मेसेज 5 हजार रुपये और 50 से ज्यादा बार नियमों का उल्लंघन करने पर हर टेलिमार्केटिंग कॉल और फर्जी मेसेज के लिए 10 हजार रुपये का फाइन लिया जा सकता है।
दो स्पेशल विंग करेंगे निगरानी
फर्जी SMS से होने वाले फ्रॉड पर रोक लगाने के लिए टेलिकॉम डिपार्टमेंट ने दो स्पेशल विंग- डिजिटल इंटेलिजेंस यूनिट (DIU) और टेलिकॉम ऐनालिटिक्स को तैयार किया है। इनका काम ऐसी जालसाजी पर नजर रखते हुए यूजर्स को इन फ्रॉड्स से बचाना होगा।
सिस्टम जेनरेटेड मेसेज से होगा वेरिफिकेशन
DIU संग्दिध नंबर्स की वेरिफिकेशन के लिए एक सिस्टम जेनरेटेड मेसेज भेजेगा। नंबर वेरिफाइ न हो पाने की स्थिति में उन्हें डिस्कनेक्ट कर दिया जाएगा। इसके साथ ही इनसे जुड़े IMEI नंबरों को भी DIU संदिग्ध नंबरों की लिस्ट में डाल देगा। ऐसा होने के बाद इन नंबर्स से 30 दिन कॉल या एसएमएस नहीं किए जा सकेंगे।
नहीं सुधरने पर ग्रे लिस्ट में जाएगा IMEI नंबर
इसके बाद भी अगर फ्रॉड कॉलर डिवाइस बदलकर किसी नए डिवाइस से टेलिमार्केटिंग करेंगे तो उसके IMEI नंबर को भी ग्रे लिस्ट में डाल दिया जाएगा। यह नंबर संदिग्ध सूची में तब तक रहेगा जब तक सिस्टम इसके री-वेरिफिकेशन की प्रक्रिया को पूरा नहीं कर लेता।
6 महीने के लिए लगेगी कॉल और एसएमएस पर कैपिंग
री-वेरिफिकेशन के पूरा होने के बाद अगर फ्रॉड कॉलर्स का नंबर ऐक्टिवेट हो जाता है और अगर फिर उन्हें नियमों का उल्लंघन करते पाया जाता है, तो उनके नए कनेक्शन पर 6 महीने के लिए हर दिन 20 कॉल और 20 एसएमएस की कैपिंग लगा दी जाएगी। इसके बाद भी अगर फ्रॉड कॉलर्स नहीं सुधरते हैं, तो टेलिकॉम कनेक्शन लेने के लिए इस्तेमाल किए गए आइडेंटिटी और अड्रेस प्रूफ को 2 साल के लिए ब्लॉक कर दिया जाएगा।
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