नई दिल्ली। इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) के 14वें सीजन के फाइनल के दौरान टीम डगआउट की बेंच पर एक ऐसा खिलाड़ी मौजूद रहेगा, जो मैच में नहीं खेलने के बावजूद अपनी टीम के लिए “लकी फैक्टर” माना जाता है।
यह क्रिकेटर 14 IPL सीजन में 9वीं बार फाइनल खेल रही महेंद्र सिंह धोनी की चेन्नई सुपरकिंग्स के ऑलराउंडर कर्ण शर्मा हैं, जो छह सीजन में 5वीं बार IPL फाइनल मुकाबले का हिस्सा बनेंगे।
चार बार फाइनल, तीन टीम के लिए बने लकी
लेग स्पिन गेंदबाजी करने के अलावा अच्छी बल्लेबाजी भी करने वाले कर्ण का IPL रिकॉर्ड भले ही बहुत प्रभावी नहीं है, लेकिन उनकी मौजूदगी को ही टीम अपने लिए लकी मानती है। इसका कारण पिछले पांच IPL सीजन में चार बार उनकी मौजूदगी वाली तीन अलग-अलग टीमों का फाइनल में पहुंचना। इन चार मौकों में से तीन बार उनकी मौजूदगी वाली टीम खिताब जीती, जबकि एक बार फाइनल में पहुंचकर उनकी टीम को हार मिली है।
2016 से शुरू हुआ था लकी सफर
कर्ण ने अपना पहला IPL मुकाबला 2013 में सनराइजर्स हैदराबाद के लिए खेला था, लेकिन उनकी मौजूदगी से जुड़ा “लकी चार्म” का तमगा उन्हें IPL-2016 से मिला, जब सनराइजर्स हैदराबाद अपना इकलौता खिताब जीतने में सफल रही थी।
अगले सीजन, यानी IPL-2017 में कर्ण शर्मा को रोहित शर्मा की कप्तानी वाली मुंबई इंडियंस में जगह मिली और उसने भी खिताब अपने नाम कर लिया।
अगले साल कर्ण की टीम फिर बदली और वे बन गए चेन्नई सुपरकिंग्स का हिस्सा, जो दो सीजन के प्रतिबंध के बाद IPL 2018 से वापसी कर रही थी। जहां एक तरफ चेन्नई ने कर्ण की पुरानी टीम सनराइजर्स हैदराबाद पर खिताबी जीत के साथ अपनी वापसी को सफल बनाया, वहीं कर्ण तीन लगातार सीजन में तीन अलग-अलग टीमों के लिए खिताब जीतने वाले पहले क्रिकेटर बन गए।
धोनी की कप्तानी में चेन्नई अगले सीजन में भी फाइनल में पहुंची और कर्ण एक बार फिर उसका हिस्सा थे। हालांकि, इस बार चेन्नई सुपरकिंग्स को हराकर मुंबई इंडियंस ने खिताब जीत लिया, लेकिन कर्ण के नाम के साथ लगातार फाइनल खेलने वाली टीम में रहने का अनूठा तमगा जुड़ गया था। अब धोनी की टीम एक बार फिर IPL फाइनल में है और कर्ण भी उसका हिस्सा हैं।
मैच में नहीं खेलते पर “लक” के लिए पा रहे मोटी फीस
कर्ण शर्मा ने अब तक IPL के 8 सीजन में 67 मैच खेलकर 316 रन बनाए हैं, जबकि 7.90 के इकोनॉमी रेट से 59 विकेट उनके खाते में दर्ज हुए हैं। इनमें भी मौजूदा IPL में कर्ण को कोई मैच खेलने को नहीं मिला है।
वहीं, इससे पहले तीन सीजन में भी चेन्नई सुपरकिंग्स ने दक्षिण अफ्रीका के जोरदार लेग स्पिनर इमरान ताहिर और भारतीय खब्बू स्पिनर रवींद्र जडेजा की मौजूदगी में कर्ण को महज 12 मुकाबलों में ही जगह दी है। इन 12 मैच में भी कर्ण ने एक भी रन नहीं बनाया है और महज 10 विकेट लिए हैं।
इसके बावजूद 2018 में उन्हें 5 करोड़ रुपये की मोटी रकम देकर मुंबई इंडियंस से झटकने वाली चेन्नई सुपरकिंग्स ने लगातार रिटेन किया हुआ है, जिसके लिए कहीं न कहीं इस “लकी फैक्टर” को ही जिम्मेदार माना जा सकता है।
अब देखना यह है कि शुक्रवार को फाइनल मैच में कर्ण का यह “लकी फैक्टर” धोनी को अपना चौथा IPL खिताब दिलाने में सफल रहता है या नहीं।
भारतीय नौसेना के पूर्व अधिकारी कुलभूषण जाधव को अगवा कराने में मदद करने वाले मुफ्ती…
चैंपियंस ट्रॉफी 2025 का फाइनल आज भारत और न्यूजीलैंड के बीच खेला जाएगा। मुकाबला दुबई…
भारत-न्यूजीलैंड के बीच चैंपियंस ट्रॉफी का फाइनल मुकाबला रविवार को दुबई इंटरनेशनल स्टेडियम में खेला…
अपनी उर्दू तो मोहब्बत की ज़बां थी प्यारे उफ़ सियासत ने उसे जोड़ दिया मज़हब…
दिल्ली सरकार की महिलाओं को 2500 रुपये हर महीने देने वाली योजना को लेकर नई…
अमेरिकी राष्ट्रपति द्वारा यूक्रेनी नेता की यह कहकर बेइज्जती किए जाने के बाद कि ‘आप…