Election 2022: हर गली-मोहल्ले में चुनावी चकल्लस का पारा चढ़ा हुआ

लखनऊ। उत्तर प्रदेश विधानसभा के लिए पांचवें चरण की 61 सीटों के लिए मतदान में रविवार को खूब उत्साह दिखा। वहीं छठे चरण के लिए विभिन्न राजनीतिक दलों ने चुनाव प्रचार में अब पूरी ताकत झोंक दी है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से लेकर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह, रक्षामंत्री राजनाथ सिंह, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कई जिलों में सभाएं, सम्मेलन और रोड शो किए।

छठे चरण में दस जिलों में आने वाले 57 विधानसभा क्षेत्रों में तीन मार्च को मतदान होना है। जिन क्षेत्रों में चुनाव हो चुके हैं वहां चुनावी चकल्लस का पारा हर गली-मोहल्ले में चढ़ा हुआ है, वहीं जहां मतदान होना है, वहां नेताओं के कार्यक्रमों में उमड़ने वाली भीड़ और आश्वासनों को लेकर हर कहीं चर्चा सुनने को मिलती है।

विपक्ष जहां महंगाई और बेरोजगारी का मुद्दा ताने हुए है, वहीं भारतीय जनता पार्टी के नेता नि:शुल्क खाद्यान्न योजना और प्रधानमंत्री आवास योजना के साथ ही उज्ज्वला योजना के लाभ बता रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी रविवार को बस्ती की सभा में कहते हैं कि उत्तर प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी की प्रचंड बहुमत की सरकार को मतदाता एक और ठप्पा लगाने वाले हैं। यूपी को दंगामुक्त, गुंडामुक्त और विकास के लिए लोगों का भरपूर आशीर्वाद मिल रहा है।

महराजगंज के निचलौल में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक जनसभा में कहा कि वर्ष 2017 के पहले समाजवादी पार्टी का नारा सबका साथ और सैफई खानदान का विकास था। उस समय बिजली का भी मजहब था। ईद और मुहर्रम में आती थी, होली-दीपावली में गायब हो जाती थी।

लेकिन अब ऐसा नहीं होता है। भारतीय जनता पार्टी सबका साथ, सबका विकास के मूल मंत्र पर आगे बढ़ रही है। विपक्षी नेता अपने भाषणों में सरकार को हर मोर्चे पर नाकाम बताते हुए महंगाई और बेरोजगारी बढ़ने का ठीकरा फोड़ रहे हैं। मतदाता दावे और प्रतिदावों के बीच रस ले रहे हैं

यूक्रेन से छात्रों की सकुशल वापसी : इस बीच रूस-यूक्रेन के बीच युद्ध शुरू हो जाने के कारण यूक्रेन में पढ़ रहे बच्चों की स्वदेश वापसी को लेकर सरकार के प्रयास भी चर्चा का विषय बने हैं। दरअसल प्रदेश के विभिन्न जिलों के हजारों बच्चे यूक्रेन में पढ़ाई कर रहे हैं। युद्ध छिड़ने पर वहां अध्ययनरत बच्चे ही नहीं, उनके अभिभावकों की जान भी सांसत में थी। बच्चे युद्धग्रस्त क्षेत्र के डरावने वीडियो भेज रहे थे, वहीं वीडियो काल करके अभिभावकों को करुण क्रंदन भी सुना रहे थे।

राज्य सरकार ने इस दर्द को महसूस किया। यूक्रेन में फंसे उत्तर प्रदेश के लोगों और विद्यार्थियों तक सहायता पहुंचाने के लिए केंद्र के विदेश मंत्रलय और यूक्रेन की राजधानी कीव स्थित भारतीय दूतावास से समन्वय की खातिर राज्य सरकार ने राहत आयुक्त और सचिव राजस्व रणवीर प्रसाद को नोडल अधिकारी नामित किया। नोडल अधिकारी विदेश मंत्रलय और कीव में भारतीय दूतावास के समन्वय से यूक्रेन में मौजूद उत्तर प्रदेश के विद्यार्थियों और लोगों के स्वदेश लौटने की कार्यवाही में मदद कर रहे हैं।

प्रदेश सरकार ने स्वदेश लौटने वालों को उनके घर तक पहुंचाने का निर्णय किया है। स्थानिक आयुक्त को सभी व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। सरकार के पास ताजा आंकड़ों के मुताबिक, यूक्रेन में उत्तर प्रदेश के 651 नागरिक फंसे हैं। लखनऊ के 19, आगरा के 15, आजमगढ़ और जौनपुर के दस-दस के, अलीगढ़ व प्रयागराज के नौ-नौ, बुलंदशहर व बरेली के आठ-आठ, अयोध्या व बस्ती के सात-सात सहित कई अन्य जिलों के लोग भी वहां फंसे हैं।

यूक्रेन में फंसे लोगों द्वारा तेजी से कंट्रोल रूम पर संपर्क किया जा रहा है और यह संख्या लगातार बढ़ रही है। राज्य सरकार के प्रवक्ता का कहना है कि स्थानिक आयुक्त को निर्देशित किया गया है कि वे यूक्रेन से वापस आने वाले प्रदेश के नागरिकों की सुविधा के लिए एयरपोर्ट पर एक विशेष काउंटर स्थापित करें। साथ ही केंद्र सरकार और अन्य सभी संबंधित व्यक्तियों या एजेंसियों से समन्वय स्थापित करते हुए आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित कराएं।

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