नोएडा। यूपी के नोएडा में सिल्वर सिटी के फ्लैट से चोरी हुआ 40 किलो सोना, 6.5 करोड़ कैश और अन्य सामान किसका था, यह अब भी पहेली बना हुआ है। आखिर कौन था जिसको इतनी बड़ी चोरी होने पर भी कोई फर्क नहीं पड़ा। पुलिस का दावा है कि वह राममणि पांडेय और उसके बेटे किशलय पांडेय का ही है।
किशलय पांडेय का नाम सामने आते ही चर्चाएं शुरू हो गईं कि यह किशलय पांडेय कौन है? कहा जा रहा है कि किशलय सुप्रीम कोर्ट में वकील हैं। हालांकि पुलिस का यह भी दावा है कि किशलय के पास लॉ की जो डिग्री है वह भी फेक है। किशलय पर कई धोखाधड़ी के केस दर्ज हैं।
सुप्रीम कोर्ट में वकील हैं किशलय
किशलय ने अपने ट्विटर अकाउंट से इस केस में स्टेटमेंट जारी किया है। उनके ट्विटर पर लिखा है सुप्रीम कोर्ट ऑफ इंडिया में सॉलिटियर, फिलॉसफर और राइटर। इसी अकाउंट से किशलय ने स्टेटमेंट जारी करके लिखा कि उन्हें फंसाया जा रहा है।
किशलय ने लिखा, ‘केंद्र सरकार और आम लोगों के साथ धोखाधड़ी और स्कैम के कई केस के खिलाफ मैं सुप्रीम कोर्ट में लड़ रहा हूं। मुझे विश्वास है कि मेरे खिलाफ इन्हें स्कैम करने वालों ने षडयंत्र रचा है। इन स्कैम करने वालों ने बड़े स्तर पर आम पब्लिक का धन खाया है। ये यही लोग हैं जो मुझे फंसा रहे हैं और मेरे खिलाफ षडयंत्र रच रहे हैं।’
किशलय ने आगे लिखा, ‘घोटालों के खिलाफ मेरी लड़ाई को कमजोर करने के लिए और देश के लोगों के लिए मेरी इंसाफ की लड़ाई को हतोत्साहित करने के लिए यह सब किया जा रहा है, लेकिन वे गलत हैं। मैं अब अपने प्रयासों को डबल करूंगा ताकि देश के लोगों को न्याय मिल सके। मैं नोएडा पुलिस की जांच में पूरा सहयोग कर रहा हूं, और कानून के हिसाब से आगे भी करता रहूंगा।’
किशलय ने कहा, ‘न तो वह फ्लैट मेरा है न ही उस फ्लैट से बरामद सोना और कैश से मेरा कोई संबंध है। मेरे ऊपर जो केस दर्ज होने की बात कही जा रही है वह एक तो दूसरा मामला है, और दूसरा वे केस 18-19 साल पुराने हैं।’